नई दिल्ली : दिल्ली में प्रदूषण कम करने के लिए सरकार द्वारा रेड लाइट ऑन गाड़ी ऑफ अभियान (Red Light On Gaddi Off Campaign) को लेकर पर्यावरण मंत्री गोपाल राय (Environment Minister Gopal Rai) के आरोपों को उपराज्यपाल कार्यालय (LG Office Delhi) ने झूठा करार दिया है. मंत्री राय ने गुरुवार को प्रेस कांफ्रेंस कर कहा था कि यह अभियान 28 अक्टूबर से शुरू होना था, लेकिन उपराज्यपाल ने इसे चलाने की मंजूरी नहीं दी.
दिल्ली सरकार के मंत्री गोपाल राय के आरोप पर शुक्रवार को उपराज्यपाल कार्यालय का कहना है कि मंत्री ने दिल्ली की जनता से झूठ बोला कि 28 अक्टूबर से रेड लाइट ऑन, गाड़ी ऑफ अभियान शुरू होना है. मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने उपराज्यपाल को भेजी फाइल में अभियान को लागू करने के लिए 31 अक्टूबर की तारीख का स्पष्ट उल्लेख किया है.
साथ ही उपराज्यपाल कार्यालय को यह फाइल 21 अक्टूबर को भेजी गई थी, जिसके बाद सप्ताहांत, राजपत्रित अवकाश और प्रतिबंधित अवकाश के बाद 27 अक्टूबर यानी गुरुवार को कार्यालय पूरी तरह से खुले. एलजी को भेजी गई फाइलें कामचलाऊ नहीं होती हैं. फाइल पर फैसला लेने से पहले सभी पहलुओं पर विचार करना होता है. गुरुवार को उपराज्यपाल दक्षिणी दिल्ली के असोला भाटी माइन्स इलाके में विकसित किए गए कृत्रिम झरने का उदघाटन करने गए थे. फिर राष्ट्रपति भवन में आयोजित कार्यक्रम में हिस्सा लेने चले गए थे. इसलिए अभियान से संबंधित फाइल को उन्होंने ठीक तरह से देखा ही नहीं, उधर पर्यावरण मंत्री ने प्रेस कांफ्रेंस कर अभियान के संबंध में गलत जानकारी मीडिया को दे दी.
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बता दें, गुरुवार को अपराह्न तीन बजे दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने सचिवालय में प्रेस कांफ्रेंस बुलाकर कहा था कि 28 अक्टूबर से शुरू होने वाले रेड लाइट गाड़ी ऑफ अभियान को फिलहाल टाल दिया गया है. उन्होंने कहा कि इस अभियान को शुरू करने के लिए 21 अक्टूबर को सीएम केजरीवाल ने एलजी विनय कुमार सक्सेना को फाइल भेजी थी. लेकिन उनकी ओर से अभी तक कोई जवाब नहीं आया है. इसकी वजह से फिलहाल हमें यह अभियान टालना पड़ा.
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